Shayari....*बे-अन्त हैं, तुम्हारी यादें... मैं उन्हें विस्तार दे रहा हूँ... मिलन मुमकिन नहीं है... लफ्जों मे प्यार दे रहा हूँ...

*बे-अन्त हैं, तुम्हारी यादें... मैं उन्हें विस्तार दे रहा हूँ... मिलन मुमकिन नहीं है... लफ्जों मे प्यार दे रहा हूँ.....

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